| ब्लॉग प्रेषक: | स्नेहा सिंह |
| पद/पेशा: | Lecturer |
| प्रेषण दिनांक: | 09-06-2022 |
| उम्र: | 29 |
| पता: | लखनऊ |
| मोबाइल नंबर: | 9453749772 |
बेटियों को पढ़ाना हैं हर कालिक को मिटाना हैं
।। बेटियों को पढ़ाना हैं
पुरानी,हर प्रथा या कुरीतियों को
जड़ से मिटाना हैं ।।
कोख में जब चलता हैं पता बेटी के
होने का
फिर,संशय में क्यों हो जाता हैं भरा पूरा ज़माना ।
गर्भपात करा गर्भ को गिराया जाता हैं
आखिर!
उस,मासूम सी जान को क्यों
बोझ सा समझा जाता हैं ।
जिस,हस्ती से
मानव को एक पहचान सी मिलती हैं
फिर, क्यूं उस पर को कतरा सा जाता हैं।
बेटी हैं मान
दो घरों का
फिर क्यूं भला,उसे एक खानदान की परंपराओं
को सहेजने का ज़िम्मा
विवाह उपरांत,थाम के हाथों में चलने को बतलाया
जाता हैं।
बेटियां,बेटों से कम नहीं
आखिर, क्यूं,
फिर,उन्हें उन सारे सम्मानों से
जो मिलते हैं बेटों को
उनसे,आज भी बराबरी की भागीदारी
सौंपने से पीछे कदम
हटाया जाता हैं ।।
शिक्षा
हैं एक हथियार ऐसा
जो,करती दूर अंधकार हर कुरीतियों का
अतः
बेटियों की जिंदगी में इस प्रकाश पुंज को
फैलाना हैं और
जगमगाहट की रोशनी से
कालिमा के हर अंधियारे को दूर भागना हैं ।।
बेटियों को पढ़ाना हैं
और हर क्षेत्र में उन्हें,मान सम्मान और
बराबरी का हक दिलवाना हैं ।।
स्नेहा कृति
साहित्यकार, पर्यावरण प्रेमी और राष्टीय सह संयोजक
कानपुर उत्तर प्रदेश
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