पवित्र मन

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ब्लॉग प्रेषक: स्नेहा सिंह
पद/पेशा: रचनाकार
प्रेषण दिनांक: 28-03-2022
उम्र: 30
पता: लखनऊ, उत्तर प्रदेश
मोबाइल नंबर: 9453749772

पवित्र मन

।। पवित्र मन ।।

मन 

जब,पवित्र होता हैं 

तो, उसमें झलकती हैं कुदरत की सारी सुंदर कृति ।

होता हैं आइना एक साफ मन

बस्ती हैं उसमें सारी जहान की खूबसूरती

स्वयं,उसमें आकर रहती हैं सारी सृष्टि की कला ।।

झूठ और उसका आडंबर

होता हैं क्षणिक मात्र ।

जैसे,कुछ क्षण की चांदनी की छाटाओ भरी रात ।

शुद्धता मन की 

होती हैं सारी कलाओं की विधा

स्वयं उस स्थान पर वास करती हैं परमेश्वर की समस्त कला ।।

पवित्र मन होता हैं सारे 

तीर्थयों को पुण्य ।

पवित्रता मन की हैं आभूषण

महान विभूतियों की ।

इसको धारण करना नही हर एक की साहस की बात ।।

स्नेहा की कलम से

🙏🙏🙏🙏🙏

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